डॉक्टर गौहर वात्स्यायन ने बताया कैसे किया जाता है आयुर्वेद उपचार में एसिड रिफ्लक्स का इलाज

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डॉक्टर गौहर वात्स्यायन ने बताया कैसे किया जाता है आयुर्वेद उपचार में एसिड रिफ्लक्स का इलाज

  • September 10, 2024

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आयुष आयुर्वेद एंड पंचकर्म सेंटर के सीनियर कंसल्टेंट डॉक्टर गौहर वात्स्यायन ने अपने यूट्यूब चैनल में पोस्ट एक वीडियो के द्वारा यह बताया कि आज के दौर में एसिड रिफ्लक्स एक ऐसी समस्या बन गयी है, जिससे प्रत्येक व्यक्ति प्रभावित हो रहा  है | एसिड रिफ्लक्स को हाइपर एसिडिटी और पेट में गैस की समस्या के नाम से जाना जाता है | जब भी एक व्यक्ति एसिडिटी की समस्या से पीड़ित होता है तो वह प्रत्येक दिन सुबह उठकर एक कैप्सूल का सेवन ज़रूर करता है ताकि उससे पूरे की एसिडिटी की समस्या न गुजरना पड़े, अगर वह किसी दिन कैप्सूल का सेवन करना भूल जाते है तो उससे एसिडिटी की समस्या से पूरा दिन गुजरना पड़ जाता है | 

 

एसिड रिफ्लक्स के उत्पन्न होने सबसे प्रमुख कारण है बदलती जीवनशैली और ख़राब खानपान | आजकल की भागदौड़ भरी ज़िन्दगी के कारण लोग इतने व्यस्त हो गए की वह अपना ठीक से ख्याल और समय पर भोजन नहीं कर पाते है, जिसकी वजह से आये दिन एसिड रिफ्लक्स से पीड़ित मरीज़ों के मामले देखने को मिल जाते है | आयुर्वेद में एक ऐसा उपचार मौजूद है जिसकी माध्यम से एसिडिटी का स्थायी रूप से इलाज किया जा सकता है, क्योंकि आयुर्वेद ही केवल ऐसी प्रणाली है जिसमें इस बात का वर्णन किया होता है की कौन सा भोजन मनुष्य के शरीर के लिए गरम होता है और कौन सा भोजन शरीर के लिए ठंडा होता है |

 

अत्यधिक गर्म भोजन का सेवन करने से यह शरीर में पित्त की वृद्धि कर देते है, जिस कारण पेट का इंटेस्टाइन सिकुड़ने लग जाता है और शरीर में एसिड की मात्रा बढ़ने लग जाती है | जिससे हाइपर एसिडिटी कहा जाता है | आयुर्वेद में बहुत-सी ऐसी जड़ी बूटियों का वर्णन किया हुआ है, जो ठन्डे स्वाभाव की होती है और इसके सेवन से एसिडिटी की समस्या को एक बार में ही ख़तम किय जा सकता है | 

इससे जुड़ी अधिक जानकारी के लिए दिए गए लिंक पर क्लिक करें और इस वीडियो को पूरा देखें | इसके अलावा आप चैनल आयुर्वेदा नामक यूट्यूब चैनल पर भी विजिट कर सकते है | इस चैनल पर इस विषय संबंधी संपूर्ण जानकारी पर वीडियो बनाकर पोस्ट की हुई है | 

 

यदि आप में कोई भी व्यक्ति काफी समय से हाइपर एसिडिटी की समस्या से जूझ रहा है और कई तरह के इलाज कराने के बाद भी स्थिति में किसी भी प्रकार का सुधार नहीं आ रहा है तो इसमें आयुष आयुर्वेद एंड पंचकर्म सेंटर आपकी पूर्ण रूप से मदद कर सकता है | इस संस्था के सीनियर कंसल्टेंट डॉक्टर गौहर वात्स्यायन आयुर्वेद जड़ी-बूटियों में स्पेशलिस्ट है, जो पिछले 15 वर्षों से आयुर्वेदिक उपचार के माध्यम से पीड़ित मरीज़ों का स्थायी रूप से और सटीक तरीकों से इलाज कर उन्हें हाइपर एसिडिटी की समस्या से मुक्ति दिलाने में मदद कर रहे है | 

 

इसलिए आज ही आयुष आयुर्वेद एंड पंचकर्म सेंटर नामक वेबसाइट पर जाएं और अपनी अप्पोइन्मेंट को बुक करें | आप चाहे तो वेबसाइट में मौजूद नंबरों से भी सीधा संस्था से संपर्क कर सकते है |               

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डॉक्टर गौहर वात्स्यायन ने बताया छाछ के कौन-कौन है आयुर्वेदिक फायदे ?

  • August 17, 2024

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आयुष आयुर्वेद एंड पंचकर्म सेंटर के सीनियर कंसल्टेंट डॉक्टर गौहर वात्स्यायन ने यूट्यूब चैनल में पोस्ट एक वीडियो में यह बताया कि छाछ जैसे प्रोबिओटिक्स पेय से आयुर्वेद और औषधि के कौन-कौन से गुण प्राप्त हो सकते है, तो छाछ को आयुर्वेद में तकर के नाम वर्णन किया गया है और भारत के सभी राज्य में इससे अलग नामों से जाना जाता है | उदाहरण के तौर पर बात करें तो पूर्व भारत के राज्य पंजाब से इस पेय को चाटे की लस्सी या फिर माखन की लस्सी के नाम से जाना जाता है, गुजरात में इस पेय को छाछ के नाम से जाना जाता है और कर्नाटक में इस पेय को मजिगा के नाम से जाना जाता है |  

 

छाछ पिछले कई सालों से खाने का हिस्सा बना हुआ है और साथ ही आयुर्वेद में भी इसके कई गुणों के बारे में वर्णन भी किया हुआ है | छाछ प्रोबिओटिक्स के तत्वों से भरपूर होता है जो व्यक्ति के पाचन तंत्र के लिए बेहद फायदेमंद होता है | जितने भी लोग पेट से जुडी किसी भी प्रकार की बीमारी से गुज़र रहा है तो वह इस समस्या को छाछ के सेवन से कम कर सकता है | इसके साथ ही जो व्यक्ति अपनी रोज़ाना जीवनशैली में लगातार छाछ का सेवन कर रहा है, वह हमेशा पेट से जुडी सभी समस्याओं से दूर रहता है | अब अगर बात करें की लस्सी और छाछ में क्या अंतर है, तो अक्सर कई लोग लस्सी और छाछ के बीच में अंतर नहीं कर पते है और वह असमंजस मे ही फंस रह जाते है | जो लस्सी होती है वह दही में नमक या फिर चीनी के उपयोग से तैयार की जाती है और जब दही से माखन की तैयार किया जाता है, तब माखन को निकालने के बाद जो शेष पेय बच जाता है उसे बटरमिल्क या फिर छाछ कहा जाता है |  

इससे जुड़ी अधिक जानकारी के लिए आप दिए गए लिंक पर क्लिक करें और इस वीडियो को पूरा देखें | इसके अलावा आप चैनल आयुर्वेद नामक यूट्यूब चैनल पर भी विजिट कर सकते है | इस चैनल पर इस विषय संबंधी संपूर्ण जानकारी पर वीडियो बना कर पोस्ट की हुई है | 

 

यदि आप भी पाचन तंत्र से जुड़ी किसी भी प्रकार की समस्या से जूझ रहे है और कई तरह के दवाओं और उपचार को कराने के बाद भी स्थिति में किसी भी तरह का सुधार नहीं आ रहा तो इलाज के लिए आप आयुष आयुर्वेद एंड पंचकर्म सेंटर से परामर्श कर सकते है | इस संस्था के सीनियर कंसल्टेंट डॉक्टर गौहर वात्स्यायन आयुर्वेदिक जड़ी-बूटियों में स्पेशलिट्स है, जो इस समस्या का प्राकृतिक उपचार के उपयोग से इलाज कर आपकी पूर्ण रूप से मदद कर सकते है | इसलिए आज ही आयुष आयुर्वेद एंड पंचकर्म सेंटर नामक वेबसाइट पर जाएं और अपनी अप्पोइन्मनेट को बुक करें | आप चाहे तो वेबसाइट में मौजूद नंबरों से भी संपर्क कर सकते है |