क्या आप खांसी, सर्दी और ख़राब गले से परेशान है ? तुरंत राहत पाने के लिए अपनाएं ये आयुर्वेदिक उपचार

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क्या आप खांसी, सर्दी और ख़राब गले से परेशान है ? तुरंत राहत पाने के लिए अपनाएं ये आयुर्वेदिक उपचार

  • December 9, 2024

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सर्दी, जुकाम और खांसी जैसे समस्या के वायरस कुछ खास दिखाई नहीं देते है, लेकिन इससे बचकर रहना एक व्यक्ति के लिए थोड़ा मुश्किल हो जाता है | कुछ ऐसे गंभीर वायरस भी होते है, जिनमें एलॉपथी दवाएं भी असर करना बंद कर देती है | ऐसे में केवल आयुर्वेदिक उपचार ही असरदार साबित होता है | 

 

मौसम के बदलते ही खांसी, सर्दी और ख़राब गले होना स्वाभाविक है | यह बीमारियां भले ही आम है लेकिन यह पीड़ित व्यक्ति के जीवन की गुणवत्ता को गंभीर रूप से प्रभावित कर सकता है | इन बीमारियों से बचने के लिए केवल एक ही उपाय है, अपनी इम्यून सिस्टम को मज़बूत रखें और खुद को हाइजीन रखें | यदि फिर भी आप खांसी, सर्दी और ख़राब गले जैसे बीमारी का शिकार हो गए है तो इसके इलाज के लिए आप आयुर्वेदिक उपचार का उपयोग कर सकते है | 

पूरे साल में दो बार संक्रमण होना स्वाभाविक है 

मौसम में आये परिवर्तन के साथ-साथ कम से कम दो बार बैक्टीरिया और वायरस अधिकतर लोगों को अपनी चपेट में ले लेता  है | कई लोग ऐसे भी होते है जो इस संक्रमण से जल्द ही रिकवर कर जाते है, लेकिन कुछ लोगों को यह संक्रमण गंभीर रूप से प्रभावित कर सकता है | ऐसे में आप कुछ आयुर्वेदिक उपाय को अपनाकर इस समस्या से राहत पा सकते है | आइये जानते है ऐसे ही आयुर्वेदिक उपचार के बारे में :-    

 

आयुर्वेदिक मिश्रण तैयार करें

आधा चम्मच हल्दी पाउडर में एक कली काली मिर्च को कूटकर मिलाएं, फिर इसमें आधा चम्मच सोंठ के पाउडर को डालें | अब इस मिश्रण में आधा चम्मच शुद्ध शहद को मिलाएं | इस मिश्रण को लगातार दिन में दो से तीन बार सेवन करें | इस मिश्रण के सेवन करने के एक घंटे बाद आपको काफी बेहतर महसूस होगा | 

 

औषधि पानी का सेवन करें 

7 से 8 तुलसी के पत्ते, अदरक का छोटा-सा टुकड़ा, लहसून की कुछ कलियां, एक चममच अजवाइन, एक चम्मच मेथी के दाने, सुखी और ताज़ा हल्दी का टुकड़ा और 4 से 5 काली मिर्च के दाने को एक लीटर पानी में अच्छे से उबाल लें और इससे तब तक के लिए उबले जब तक की यह पानी आधा न हो जाएं, फिर इस पानी का सेवन रोज़ाना सुबह उठकर खाली पेट   करें |   

 

अजवाइन का भाप लें 

पानी में अजवाइन को अच्छे से उबाल लें, फिर इसमें यूकेलिप्टस की पत्तियां या फिर आप हल्दी भी डाल सकते है | यदि आपको सुखी खांसी है तो इसके लिए आप सितोपलादि चूर्ण में शहद में मिलाकर इसका सेवन कर सकते है |    

ऐसे करें संक्रमण से बचाव 

अगर आप संक्रमण के चपेट में नहीं आएं है और इससे बचाव करना चाहते है तो इसके लिए बेहतर यही है की आप कोल्ड ड्रिंक का सेवन करना बिल्कुल ही बंद कर दें | ठंडी दही और योगकर्ड से परहेज़ रखें | आइक्रीम, मीठे पदार्थ, डीप फ्राई फ़ूड या फिर भारी खाना का सेवन बिलकुल ही न करें | दिन में देर तक न सोये और रात में देर तक न जागें | 

यदि यह सब करने के बाद भी आपकी स्थिति पर किसी भी प्रकार का सुधार नहीं आ रहा तो इलाज के लिए आप डॉक्टर गौहर वात्स्यायन से परामर्श कर सकते है | आयुष आयुर्वेद एंड पंचकर्म सेंटर के सीनियर कंसल्टेंट डॉक्टर गौहर वात्स्यायन पंजाब के बेहतरीन आयुर्वेद स्पेशलिस्ट में से एक है, जो आपकी समस्या को कम करने में आपकी पूर्ण रूप से मदद कर सकते है | इसलिए आज ही आयुष आयुर्वेद एंड पंचकर्म सेंटर की ऑफिशियल वेबसाइट पर जाएं और परामर्श के लिए अपनी अप्पोइन्मेंट को बुक करें | आप चाहे तो वेबसाइट में मौजूद नंबरों से सीधा संस्था से चयन कर सकते है | 

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क्या हल्दी है स्वास्थ्य के लिए बेहद फायदेमंद ? जानिए आयुर्वेद से हल्दी के क्या है स्वास्थ्य लाभ

  • December 2, 2024

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हल्दी एक किस्म का घर में उपयोग होने वाला मसाला है, जिसका खासकर भारत में हर तरह के खान-पकवान में इस्तेमाल किया जाता है | इसके साथ ही आयुर्वेद में हल्दी को एक तरह की औषधि भी मानी जाती है, जिसका  सबसे अधिक उपयोग विभिन्न प्रकार के रोगों से लड़ने के लिए किया जाता है और इसके साथ ही हल्दी को सबसे शक्तिशाली जड़ी-बूटियों में से एक भी माना जाता है | 

आयुष आयुर्वेद & पंचकर्म सेंटर के सीनियर कंसल्टेंट डॉक्टर गौहर वात्स्यायन ने अपने यूट्यूब चैनल नाम चैनल आयुर्वेदा में पोस्ट एक वीडियो के माध्यम से यह बताया कि हल्दी का प्रयोग बीते पिछले कई दशकों से भारत के हर घरों में मसाला के रूप में प्रयोग होता चला आ रहा है | इसके साथ ही हल्दी जैसे औषधि में कई तरह के गुण पाए जाते है कि जिसकी कोई हद नहीं होती है | लेकिन अब यह सवाल सबके मन में आ रहा होगा की क्यों हल्दी का उपयोग हर तरह के खान-पकवान में किया जाता है, रंग के इलावा हल्दी के और क्या फायदे है, क्योंकि हल्दी का इस्तेमाल खाने में स्वाद के लिए तो बिलकुल भी नहीं किया जाता, साथ ही किन कारणों से पिछले हज़ारों सालों से हल्दी का उपयोग मसाले के तौर पर हर घरों में हो रहा है आइये जानते है:- 

हल्दी को पोटानिकल नाम कारकुमा लौंगा से भी जाना जाता है, जिसमे 100 से भी अधिक प्रकार के रासायनिक यौगिक पाए जाते है, जो कई तरह के औपचारिक क्षमताओं में अपना योगदान देता है | हल्दी का सबसे ज़्यादा उपयोग दक्षिण एशिया में आयुर्वेदिक चिकित्सा के तौर पर गठिया, गंभीर दर्द, थकान और साँस लेने में दिक्कत जैसी समस्याओं को दूर करने के लिए किया जाता है | भारतीय लोगों का यह मानना है की हल्दी से बनी उपचार शक्ति कई बिमारियों को जड़ से ख़तम कर सकती है | आइये जानते है हल्दी से सेहत को क्या लाभ प्राप्त हो सकते है :- 

हल्दी है सूजनरोधी    

डॉक्टर गौहर वात्स्यायन ने बताया कि आयुर्वेद में हल्दी एक ऐसी औषधि है, जिसका स्वास्थ्य के लिए सबसे प्रसिद्ध लाभ सूजनरोधी और एंटीऑक्सीडेंट गुण है | हल्दी का इस्तेमाल गठिया जैसी बीमारी में आये सूजन और दर्द को कम करने के लिए किया जा सकता है | सूजन और बेचैनी होना बहुत ही आम कारण है, जिसे हर वर्ग के लोग किसी न किसी वजह से गुजरते है और साथ ही यह कुछ बीमारियों के विकास में भी योगदान देते है | लेकिन हल्दी के सेवन से इस दुष्प्रभावों से हो रहे  जोखिम कारक को कम किया जा सकता है | 

व्यक्ति की प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाता है 

एक व्यक्ति के शरीर की प्रतिरक्षा प्रणाली शरीर को उस रोगजनकों से बचने का कार्य करती है, जो कई बीमारियों की वजह से संक्रमित हो जाती है | हल्दी शरीर के प्रतिरक्षा को बरकरार रखने के साथ-साथ उसकी क्षमता को बढ़ाने का भी कार्य करता   है | हल्दी में एंटीवायरल, जीवाणुरोधक और रोगाणुरोधक जैसे कई तरह अच्छे गुण पाए जाते है | जो शरीर के प्रतिरक्षा प्रणाली की रक्षा करने के साथ-साथ उसे रोगमुक्त भी रखता है | 

हल्दी दिलाये दर्द से राहत

आयुर्वेद जड़ी-बूटियों में हल्दी का सबसे ज्यादा उपयोग मरीज़ को किसी भी कारणों से हो रहे दर्द को कम करने के लिए किया जाता है | हल्दी जैसे औषधि का कई परीक्षणों में जिक्र किया गया है, खासकर गठिया से पीड़ित रोगिओं के लिए, क्योंकि यह गठिया से हो रहे दर्द को कम करने में भी सक्षम होता है | 

यदि आप इसके बारे में और जानकारी प्राप्त करना चाहते है तो इसके लिए आप चैनल आयुर्वेदा नामक यूट्यूब चैनल पर विजिट कर सकते है | इस चैनल पर इस विषय संबंधित सम्पूर्ण जानकारी पर वीडियो बनाकर पोस्ट की हुई है | इसके अलावा आयुष आयुर्वेद & पंचकर्म सेंटर से परामर्श भी कर सकते है | इस संस्था के सीनियर कंसल्टेंट डॉक्टर गौहर वात्स्यायन आयुर्वेद जड़ी-बूटियों में स्पेशलिस्ट है |